आयकर अधिनियम के सेक्शन 194I के मौजूदा प्रावधानों के मुताबिक अगर साल भर में भुगतान किया गया या किए जाने वाले किराए की कुल राशि 1.80 लाख रुपये से अधिक है तो किसी जमीन या इमारत पर किराए के 10% की दर से टैक्स कटौती करने का जिम्मा किराया चुकाने वाले पर होता है। 1.80 लाख रुपये की सीमा हर भुगतानकर्ता के लिए लागू होती है, हर संपत्ति के लिए नहीं।
किराये पर टीडीएस की दरें क्या हैं?
किराए पर टीडीएस काटने के लिए कौन उत्तरदायी है?
अगर किराया चुकाने वाला कोई शख्स या एचयूएफ (गैर विभाजित हिंदू परिवार) है तो प्रावधान तब लागू होंगे, अगर किराया चुकाने वाला किसी बिजनेस या प्रोफेशन से जुड़ा है और टर्नओवर निर्धारित सीमा से ज्यादा होने के कारण खातों का पिछले वर्ष अॉडिट कराया गया था। इस प्रावधान में आने वाले लोगों को उस वक्त टैक्स कटौती करनी होगी, जब किसी टैक्स पेयर को पेमेंट की जाएगी, जो भारत का निवासी है। एेसा तब होगा जब टैक्स उद्देश्य और किराया भुगतान एक साल में 1.80 लाख रुपये से अधिक हो।
टीडीएस को कैसे कैलकुलेट किया जाता है?
इस प्रावधान में आने वाले लोगों को उस वक्त टैक्स कटौती करनी होगी, जब किसी टैक्स पेयर को पेमेंट की जाएगी, जो भारत का निवासी है. ऐसा तब होगा जब टैक्स उद्देश्य और किराया भुगतान एक साल में 2.40 लाख रुपये से अधिक हो. अगर इनकम टैक्स के कामों के लिए पट्टेदाता अनिवासी है तो इनकम टैक्स एक्ट के सेक्शन 195 के प्रावधानों के तहत भुगतानकर्ता को टैक्स कटौती करनी होगी. इसमें प्रति वर्ष 2.40 लाख रुपये की कोई सीमा नहीं है.
-टैक्सपेयर्स बिजनेस में शामिल होते हैं. साथ ही व्यक्ति और एचयूएफ को किराये पर टीडीएस की कटौती करनी पड़ती है.
-किराये को क्रेडिट करते वक्त ही टीडीएस में कटौती करनी होगी.
-किराये पर टीडीएस चुकाने के लिए www.tin-NSDL.com पर जाएं. वेबसाइट पर जाकर आपको फॉर्म क्यूसी को भरने का एक लिंक मिलेगा.
किराया देने वाला | टीडीएस की दर | सीमा-रेखा |
कंपनियां, फर्म्स, ट्रस्ट्स, लोगों का समूह इत्यादि या व्यक्ति या एचयूएफ, जहां भुगतानकर्ता एक बिजनेस में लगे हुए हैं, जिनके खातों का ऑडिट किया गया था. | किराये का दर 10% प्रतिशत | अगर पूरे साल में चुकाए जाने वाला या चुकाया गया कुल किराया 2.40 लाख को पार कर जाता है तो टीडीएस कटौती होगी. |
ऊपर बताए गए सेक्शन में व्यक्ति या एचयूएफ कवर नहीं होंगे. |
किराये का 5 प्रतिशत |
अगर हर महीने या महीने के हिस्से का किराया 50,000 रुपये से ज्यादा है तो टीडीएस काटा जाना चाहिए. |
एनआरआई को भुगतान किए गए किराये पर टीडीएस
आयकर अधिनियम के सेक्शन 195 के मुताबिक, अगर किरायेदार ने भारत में मौजूद एनआरआई मकानमालिक की प्रॉपर्टी का किराया दिया है, तो उसे किराये पर टीडीएस की 30 प्रतिशत कटौती करनी चाहिए. किराये पर टीडीएस कटौती के लिए, किरायेदार के पास टीएएन होना चाहिए. अगर किरायेदार एनआरआई को चुकाए गए किराये पर टीडीएस कटौती करने में विफल रहता है तो भुगतानकर्ता को प्रावधानों के मुताबिक जुर्माना देना होगा.
क्या टीडीएस के लिए टीएएन अनिवार्य है?
प्रावधान केवल किराए पाने वाले को कवर करते हैं जो आयकर मकसदों के लिए निवासी हैं, क्योंकि गैर-निवासी पहले से ही आयकर अधिनियम की धारा 195 के तहत आते हैं.
टीडीएस पेमेंट के लिए फॉर्म
किराए पर टीडीएस चुकाने के लिए www.tin-NSDL.com पर जाएं. वेबसाइट पर आपको भरने के लिए फॉर्म 26क्यूसी का लिंक मिलेगा. अपने सभी विवरण, अपने मकान मालिक और वित्तीय लेनदेन के सभी विवरण भरें. अगर आप किसी आवास को शेयर कर रहे हैं तो उसकी जानकारी भी देनी होगी. इसी तरह, अगर आपका मकान मालिक किसी और के साथ संपत्ति का मालिक है, तो उनका विवरण भी फॉर्म में दिया जाना चाहिए.
पूछे जाने वाले सवाल
आयकर अधिनियम का सेक्शन 194I क्या है?
आयकर अधिनियम का सेक्शन 194I किराया भुगतान पर टीडीएस के बारे में बताता है. धारा 194I उन लोगों को शामिल करता है जो व्यक्ति/एचयूएफ नहीं हैं, साथ ही साथ ऐसे लोग/ एचयूएफ जो धारा 44 एएबी (ए) और (बी) के तहत ऑडिट करने के लिए उत्तरदायी हैं. सेक्शन 194IB व्यक्तियों और एचयूएफ को शामिल करता है जो ऑडिट के लिए उत्तरदायी नहीं हैं. सेक्शन 194IC में जॉइंट डेवेलपमेंट अग्रीमेंट्स शामिल हैं.
मैं किराये पर टीडीएस का भुगतान कहां कर सकता हूं?
कोई भी व्यक्ति या संस्थान जो किराये से टीडीएस में कटौती करता है, वह सीधा उसे सरकार को दे सकता है. इसके लिए उसे https://www.tin-nsdl.com/ पर जाना होगा या फिर अधिकृत बैंकों में.
किराये पर टीडीएस में 'रेंट' का मतलब क्या है?
रेंट का मतलब है भूमि, इमारत या जमीन और इमारत के इस्तेमाल के लिए किया गया किसी भी तरह का भुगतान या कमरे देने के लिए होटलों को किया गया भुगतान.
किराये पर टीडीएस भुगतान के लिए क्या हैं इनकम टैक्स के फॉर्म?
किरायेदार को किराए के लेनदेन पर टीडीएस की रिपोर्ट करने के लिए TIN वेबसाइट पर चालान-कम-स्टेटमेंट (फॉर्म 26QC) भरना होता है.
किराये पर टीडीएस कटौती नहीं करने के लिए क्या जुर्माना है?
अगर टीडीएस कटौती नहीं की जाती है तो टीडीएस कटौती होने तक 1 प्रतिशत ब्याज हर महीने लगेगा.